चुनाव आयोग की वेबसाइट हैक कर बना डाले 10 हज़ार से ज़्यादा मतदाता पहचान पत्र, आरोपी गिरफ्तार
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Mohammad Siraj
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नई दिल्ली, इलेक्शन कमीशन ऑफ इंडिया की वेबसाइट हैक कर फर्जी वोटर आईडी बनाने के मामले में पुलिस को बड़ी सफलता मिली है. पुलिस ने इस मामले में एक आरोपी को उत्तर प्रदेश के सहारनपुर पुलिस गिरफ्तार किया है. वहीं इस मामले में सहारनपुर एसएसपी एस चेनप्पा ने बताया कि आरोपी का नाम विपुल सैनी है और वह जिले के नकुड़ इलाके में उसकी अपनी कंप्यूटर ऑपरेटर की दुकान है. आरोपी विपुल सैनी अपनी दुकान के कंप्यूटर से ही इस हैकिंग को अंजाम दिया था।
वहीं इस मामले में निर्वाचन आयोग का एक कर्मचारी भी गिरफ्तार हुआ है. ये कर्मचारी चुनाव आयोग में डाटा एंट्री का काम करता है।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, चुनाव आयोग को अपनी वेबसाइट में कुछ तकनीति दिक्कत होने का अंदेशा हुआ लेकिन जब इसकी जांच की गई तो उसे वेबसाइट हैक होने का पता चला. ये खबर सामने आते ही हड़कंप की स्थिति मच गई. इस के बाद जांच एजेंसियों को इस हैकिंग की जानकारी दी गई।
पुलिस और एजेंसियों के संयुक्त ऑपरेशन में वेबसाइट हैक करने वाला आरोपी विपुल सैनी शक के दायरे में आया. इसके बाद सहारनपुर पुलिस को विपुल सैनी और उसकी गतिविधियों पर नजर रखने के निर्देश दिए गए. जब पुलिस को पुख्ता सबूत मिले तो विपुल सैनी के घर और दुकान पर छापेमारी की गई और उसे गिरफ्तार कर लिया गया।
वहीं इस मामले में निर्वाचन आयोग की ओर से एक आधिकारिक बयान आया है. चुनाव आयोग ने अपने बयान में कहा है कि, असिस्टेंट इलेक्टोरल रोल ऑफिसर्स (AERO) नागरिक सेवाओं को मुहैया कराने के लिए कृतसंकल्प हैं. ‘कोई भी वोटर ना छूटने पाए’ की थीम के साथ वोटर आईडी की प्रिंटिंग और तय समय के अंदर उनका वितरण किया जा रहा है।
वहीं इस मामले में एसएसपी चेनप्पा ने बताया कि आरोपी विपुल सैनी मध्य प्रदेश के हरदा जिले के रहने वाले अरमान मलिक के इशारे पर काम कर रहा था. इस दौरान उसने बीते तीन महीने में दस हजार से ज्यादा फर्जी वोटर आईडी बना लिए थे. साइबर सेल और सहारनपुर अपराध शाखा के संयुक्त ऑपरेशन में गुरुवार को आरोपी विपुल सैनी को गिरफ्तार किया गया।
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